माँ ममता और मैं
माँ ममता और मैं
ए अँधेरे देख ले मुँह तेरा काला हो गया...
माँ ने आँखे खोल दी घर मे उजाला हो गया...
वैसे तो ऐसा कोई दिन नहीं जो माँ के बिना पूरा हो सके ,लेकिन आज की इस भौतिक दुनियां में हर दिन कोई कोई डे होता है।तो उसी प्रकार मई के दूसरे रविवार को मदर्स डे के रूप में मनाया जाता है।इस दिन को यादगार बनाने के लिये हमारी जिला संवाददाता दिशिका मीणा द्वारा एक लेख....
दिन भर की थकान के बाद जब घर पर आओ तो निगाहें एक ही शख़्स को ढूंढने लगती है। पूरे दिन की बातें जिन्हें बतानी होती हैं और वो होती है मां। मां जितना छोटा शब्द है उतना ही बड़ा उसका मतलब। मां हर व्यक्ति का पहला प्रेम और हर व्यक्ति का सहारा। मां के लिए तो जितना भी लिख दो उतना कम है। शायद आज भी उन्हीं की बारे में लिखते हुए मेरे अल्फ़ाज़ कम पड़ जाए। पर ये कलम फिर भी पूरी तरह से मां का बखान नहीं कर सकती। आज भी उन दिनों की याद आती है जब मां की कहानियों के बिना नींद नहीं आती थी। स्कूल से घर आकर जिसको सारी दिनचर्या बतानी होती थी। वो लम्हे ही अलग थे। आज मदर्स डे है, सोचा आज कुछ जीवन का फलसफा लिखूं पर उल्फत ये हुई की कहां से शुरू करूं क्योंकि ऐसा कोई क्षण ही नहीं है जिसमें मेरी मां ना हो। आज भी उनकी एक-एक डांट याद आती है और उसी डांट के बाद चुप करा कर आंचल में छुपाना और आंसू पोंछ कर मेरी हर ज़िद्द को पूरा करना। यही तो होता हैं मां की ममता। हर किसी को रविवार का अवकाश तो मिलता ही है, एक मां ही है जो उस अवकाश के दिन भी हमारे लिए पकवान बनाती हैं। वो कभी छुट्टी नहीं लेती। जब कभी वो बीमार पड़ जाती है, तब उनकी महत्ता का एहसास होता है कि वो दिन भर कितना कार्य करके भी कभी नहीं कहती की मैं थक गई हूं। मां तो बिना बोले भी सारी बातें समझ जाती है। घर में चाहे सबसे आसूं छुपा लूं परंतु उन्हें वो ना जाने कैसे बिना देखे मेरे आंसुओं को देख लेती है। और उनका हल भी इतने सहज तरीके से ढूंढ़ लेती है। ये गुण ना जाने कहां से मां में आए है, वो भी कोई भगवान से कम नहीं है, जैसे ईश्वर परेशानियों को समझ कर उन्हें हल करने का मार्ग दिखा देता है, वहीं कार्य मेरी मां भी करती है। तभी तो कहते है की भगवान ने सोचा कि वो हर स्थान पर नहीं हो सकते, इसलिए उन्होंने मां बनाई। *राष्ट्र नमन न्यूज़* एवम सभी मीडिया कर्मियों ,के साथ साथ हमारे सुधी पाठको को मदर्स डे, की हार्दिक शुभकामनाएं।
आगरा से जिला संवाददाता दिशिका मीणा के साथ ब्यूरो चीफ देवेन्द्र जादौन की स्पेशल रिपोर्ट..।